Govt News

Union Cabinet Census: कैबिनेट की तिहरी घोषणा! कोयला क्षेत्र में बड़ा सुधार, किसानों के लिए नया कदम—क्या कुछ बड़ा होने वाला है?

Union Cabinet Census: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में 12 दिसंबर 2025 को हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में देशहित से जुड़े तीन बड़े निर्णय लिए गए। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने प्रेस वार्ता में बताया कि आज का दिन प्रशासनिक सुधार, ऊर्जा क्षेत्र और किसानों—तीनों के लिए महत्वपूर्ण रहा। पहला फैसला जनगणना 2027 को लेकर है, जिसके लिए ₹11,718 करोड़ का विशाल बजट मंज़ूर किया गया। दूसरा फैसला कोयला क्षेत्र में बड़े सुधार को लेकर है, ताकि भारत को कोयला उत्पादन के मामले में आत्मनिर्भर बनाया जा सके। तीसरा बड़ा निर्णय किसानों के लिए MSP बढ़ोतरी पर केंद्रित है, जो आगामी कृषि वर्ष में नारियल उत्पादकों के लिए राहत लेकर आया है।

केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि वर्ष 2027 की जनगणना भारत के इतिहास में पहली पूरी तरह डिजिटल जनगणना होगी। सरकार ने इसका डिजिटल ढांचा तैयार कर लिया है और डेटा सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता दी गई है। जनगणना दो चरणों में की जाएगी—पहला चरण हाउस लिस्टिंग और हाउसिंग जनगणना, जो 1 अप्रैल 2026 से 30 सितंबर 2026 तक चलेगा। दूसरा चरण जनसंख्या गणना, जो फरवरी 2027 में किया जाएगा। खास बात यह है कि सभी आंकड़े मोबाइल एप्लिकेशन के माध्यम से एकत्र किए जाएंगे, जो हिंदी, अंग्रेजी सहित देश की सभी प्रमुख क्षेत्रीय भाषाओं में उपलब्ध रहेगा। इससे न केवल प्रक्रिया अधिक पारदर्शी और तेज़ होगी, बल्कि डेटा प्रोसेसिंग भी अधिक सटीक हो सकेगी।

‘जाति बताना अनिवार्य नहीं’: डेटा सुरक्षा को सर्वोपरि महत्व

मंत्री वैष्णव ने स्पष्ट किया कि जनगणना को लेकर जल्द ही गजट अधिसूचना जारी की जाएगी, जिसमें जाति और अन्य सामाजिक-आर्थिक सूचनाओं से संबंधित दिशा-निर्देश शामिल होंगे। उन्होंने कहा कि किसी भी व्यक्ति के लिए जाति बताना अनिवार्य नहीं है; यदि कोई चाहे तो इस जानकारी को साझा न करने का विकल्प मौजूद रहेगा। सरकार ने आश्वासन दिया कि व्यक्तिगत स्तर का कोई भी माइक्रोडाटा प्रकाशित नहीं किया जाएगा। केवल समेकित आंकड़े (aggregated data) सार्वजनिक किए जाएंगे, ताकि निजता और डेटा सुरक्षा के सिद्धांतों का पूरा पालन हो सके। यह कदम डिजिटल जनगणना पर भरोसा बढ़ाने और नागरिकों के संवेदनशील डेटा की रक्षा सुनिश्चित करने की दिशा में महत्वपूर्ण माना जा रहा है।

कोयला क्षेत्र में बड़ा सुधार और किसानों को MSP का तोहफा

बैठक में कोयला क्षेत्र से संबंधित महत्वपूर्ण सुधार ‘कोल सेतु’ प्रणाली को मंज़ूरी दी गई। मंत्री वैष्णव ने बताया कि यह नया प्लेटफ़ॉर्म पारदर्शी और आधुनिक कोयला नीलामी व्यवस्था सुनिश्चित करेगा। सरकार का लक्ष्य है कि भारत को कोयला आत्मनिर्भरता की दिशा में मजबूत बनाया जाए और आयात पर निर्भरता लगभग समाप्त कर दी जाए। आयातित कोयले पर निर्भरता घटने से देश ने पिछले वर्षों में लगभग ₹60,000 करोड़ की बचत की है। कोयला उत्पादन 2024-25 में एक ऐतिहासिक स्तर—1 बिलियन टन—तक पहुंच गया, जिससे घरेलू बिजली संयंत्रों में रिकॉर्ड स्तर का स्टॉक उपलब्ध है।

किसानों के लिए केंद्र सरकार ने बड़ा निर्णय लेते हुए वर्ष 2026 के लिए मिल्ड कोप्रा का MSP ₹12,027 प्रति क्विंटल और राउंड कोप्रा का MSP ₹12,500 प्रति क्विंटल मंज़ूर किया। NAFED और NCCF को इसके लिए नोडल एजेंसियां नियुक्त किया गया है, ताकि किसानों को उचित मूल्य प्राप्त हो और बाजार में स्थिरता बनी रहे। सरकार का दावा है कि यह फैसला नारियल उत्पादक राज्यों के लाखों किसानों के लिए आर्थिक राहत लेकर आएगा और उन्हें बेहतर आय सुनिश्चित करेगा।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button